जम्मू एंड कश्मीर हिन्दू बहुल राज्य होता तो इसका स्पेशल स्टेटस नहीं छीनती भगवा पार्टी : चिदंबरम
सत्ता विमर्श ब्यूरो
नई दिल्ली : पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम ने अनुच्छेद 370 के ज्यादातर प्रावधानों को समाप्त करने के लिए मोदी सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि यदि जम्मू कश्मीर हिंदू बहुल राज्य होता तो भगवा पार्टी की सरकार इस राज्य का स्पेशल स्टेटस नहीं छीनती। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा ने अपनी ताकत से अनुच्छेद 370 को लगभग समाप्त कर दिया है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, चिदंबरम ने रविवार को कहा कि जम्मू कश्मीर अस्थिर है और अंतरराष्ट्रीय समाचार एजेंसियां इस अशांत स्थिति को लगातारकवर कर रही हैं लेकिन भारतीय मीडिया ऐसा नहीं कर पा रही है। कांग्रेस नेता ने कहा, उनका (भाजपा) दावा है कि कश्मीर में हालात ठीक-ठाक हैं। अगर भारतीय मीडिया घराने जम्मू-कश्मीर में अशांति की स्थिति को कवर नहीं करते हैं तो क्या इसका मतलब स्थिरता है? उन्होंने सात राज्यों में सत्तारूढ़ सात क्षेत्रीय दलों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि उन्होंने राज्यसभा में भाजपा के कदम के खिलाफ भय के कारण मुखर नहीं हुए।
विपक्षी पार्टियों के असहयोग पर असंतोष व्यक्त करते हुए कांग्रेस नेता ने कहा, हमें पता है कि लोकसभा में हमारे पास बहुमत नहीं है लेकिन सात पार्टियों (अन्नाद्रमुक, वाईएसआरसीपी, टीआरएस, बीजेडी, आप, टीएमसी, जेडीयू ने सहयोग किया होता तो विपक्ष राज्यसभा में बहुमत में होता। यह निराशाजनक स्थिति है। कांग्रेस नेता ने कहा कि जम्मू कश्मीर के सौरा क्षेत्र में लगभग 10 हजार लोगों ने विरोध किया जो एक सच है, पुलिस ने कार्रवाई की जो एक सच है और इस विरोध के दौरान हुई गोलीबारी भी एक सच्चाई है। उन्होंने कहा कि भाजपा के कदम की निंदा करने के लिए यहां एक जनसभा हुई थी।
चिदंबरम ने कहा कि देश के 70 साल के इतिहास में ऐसा कभी कोई उदाहरण नहीं है जब एक राज्य को केंद्रशासित प्रदेश बना दिया गया हो। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने आरोप लगाया कि यदि जम्मू कश्मीर हिंदू बहुल राज्य होता तो भाजपा कभी भी ऐसा नहीं करती। उन्होंने ऐसा सिर्फ इसलिए किया क्योंकि यह मुस्लिम बहुल है। चिदंबरम ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू और पूर्व गृह मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल के बीच कभी भी संघर्ष की स्थिति नहीं थी। पटेल कभी भी आरएसएस के पदाधिकारी नहीं रहे थे। उनके (भाजपा) के पास कोई नेता नहीं है, वे हमारे नेताओं को चुरा रहे हैं। कोई फर्क नहीं पड़ता कि कौन चोरी करता है, इतिहास यह नहीं भूलता कि कौन किससे जुड़ा हुआ है।