इशारों-इशारों में अजित डोभाल समझा गए- अगले 10 साल तक मोदी सरकार को बनाए रखना जरूरी क्यों
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने इशारों-इशारों में कांग्रेस के नेतृत्व में विपक्षी दलों के महागठबंधन पर निशाना साधते हुए कहा कि भारत को अगले 10 साल तक मजबूत, स्थायी और निर्णायक सरकार की जरूरत है। कमजोर गठबंधन देश के लिए बेहद नुकसान पहुंचाने वाला होगा। उ
मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को SC ने दी फौरी राहत, कहा- सुनवाई तक घर में नजरबंद रखा जाए
सुप्रीम कोर्ट ने भीमा-कोरेगांव हिंसा मामले में गिरफ्तार पांच मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को 6 सितंबर तक घर में नजरबंद रखने का बुधवार को आदेश दिया। सुनवाई के दौरान देश की शीर्ष अदालत ने यह भी कहा कि असहमति लोकतंत्र का सेफ्टी वाल्व है।
मोबोक्रेसी पर SC का चाबुक
21 वीं सदी के भारत में मॉब लिंचिग या भीड़तंत्र के लिए जैसे सख्त रूख की जरूरत थी सुप्रीम कोर्ट ने ठीक वैसा ही किया। मोबोक्रेसी की डिमोक्रेसी में कोई जगह नहीं है और इसकी जिम्मेदारी सरकारों की है। कानून-व्यवस्था का दारोमदार जहां राज्य सरकारों पर है वहीं नए कानून को गढ़ने की मशक्कत केन्द्र को करनी होगी। कानून सख्त हो, लोगों को सबक सिखाए इसका पूरा ख्याल सर्वोच्च अदालत ने रखा है। इसलिए दिशा निर्देश का ऐसा चाबुक चलाया है जो भीड़तंत्र को काबू करने में सक्षम हो और इसके खिलाफ जाने वालों को, चाहें वो बड़ा अधिकारी हो या फिर जिम्मेदार प्रतिनिधि उसकी नकेल कस सके।
PM मोदी ने कहा- एक परिवार को पूजने वाली कांग्रेस पार्टी लोकतंत्र का सम्मान नहीं कर सकती
कांग्रेस पार्टी पर जोरदार हमला करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि एक परिवार की पूजा करने वाले लोग लोकतंत्र का सम्मान नहीं कर सकते। पीएम मोदी ईस्टर्न पेरिफरल एक्सप्रेस-वे का उद्घाटन करने के बाद बागपत में एक रैली को संबोधित कर रहे थे।
मजबूत लोकतंत्र के लिए PM ने प्रेस की आजादी का किया समर्थन
विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस पर प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट कर कहा, स्वतंत्र प्रेस एक मजबूत लोकतंत्र का निर्माण करता है। आज विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस के मौके पर हम एक स्वतंत्र प्रेस का समर्थन करने के लिए अपनी वचनबद्धता दर्शाएं। यह विचारों और मानव अभिव्यक्ति की बहुलता है जो हमें समाज के रूप में अधिक जीवंत बनाता है।
वॉचडॉग्स को सुना नहीं जाएगा तो उनके पास काटने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचेगा: जस्टिस जोसेफ
जस्टिस कुरियन जोसेफ ने मीडिया और न्यायपालिका को वॉचडॉग्स कहा है। जिन्हें अपने मालिक को भौंक कर अपनी बात बतानी होगी और अगर वो नहीं सुनेंगे तो किसी कुत्ते की ही तरह उन्हें काटने से गुरेज नहीं करना होगा। उनके मुताबिक लोकतंत्र की मजबूती के लिए मीडिया और न्यायपालिका को सजग रहना पड़ेगा। उन्होंने ये बातें केरल मीडिया एकेडमी के छात्रों से एक कार्यक्रम के दौरान कही।
क्या वाकई रंग लाएगी डिनर डिप्लोमेसी?
कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी एक बार फिर डिनर डिप्लोमेसी के जरिए विपक्ष को एकजुट करने की जद्दोजहद में लगी हैं। मिशन 2019 से पहले, मोदी-शाह के जादू के असर को कम करने और बिखरते विपक्ष को साधने का ये प्रयास लगता है। इससे पहले भी अलग-अलग मौकों पर सोनिया विपक्ष को एक सूत्र में बांधने की कोशिश करती दिखीं हैं। नहीं भूलना चाहिए कि लोकतंत्र की खूबसूरती उसकी विविधिता में ही निहित है, एकरूपता में नहीं।
क्या दुनिया से लोकतंत्र वाकई खत्म हो रहा है?
संवैधानिक तरीके से लोकतंत्र की रक्षा नहीं हो सकती तो इसकी रक्षा कैसे हो सकती है? यह सवाल जनवरी 2018 में प्रकाशित एक पुस्तक 'हाउ डेमोक्रेसी डाई' अर्थात 'लोकतंत्र कैसे खत्म होता है' में लेखक स्टीवन लेवित्स्की और डेनियल ज़िब्लाट्ट ने एक जगह उठाया है। पुस्तक में ही इसका जवाब देते हुए वे लिखते हैं कि लोकतंत्र की रक्षा दो ही तरीके से हो सकती है।
वैश्विक लोकतंत्र सूचकांक में भारत का प्रदर्शन हुआ और भी खराब
भले ही हमारी सरकार देश की अर्थव्यस्था में लगातार हो रहे सुधार और देश में बढ़ रहे निवेश का दावा कर रही हो लेकिन एक सच्चाई ऐसी भी है जो लोकतंत्र के आस्थावानों को निराश करती है। ब्रिटिश मीडिया संस्थान द इकनॉमिस्ट ने वार्षिक ‘वैश्विक लोकतंत्र सूचकांक’में इस रिपोर्ट को प्रकाशित किया है।
इंसाफ देने वाला जब मांगे इंसाफ
आजाद भारत के 70 साल के इतिहास में ये पहली बार हुआ है कि सर्वोच्च न्यायालय के चार बड़े जज CJI के खिलाफ खुलकर सामने आए हैं। उन्होंने चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं। जस्टिस चेलमेश्वर, जस्टिस मदन लोकुर, जस्टिस कुरियन जोसेफ, जस्टिस रंजन गोगोई ने कहा कि उन्होंने अपनी बात चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के सामने रखने की कोशिश की, लेकिन उनकी नहीं सुनी गई। यही 125 करोड़ आबादी वाले देश में संशय की स्थिति पैदा करता है।